रोजाना24,चम्बा : भरमौर मुख्यालय स्थित चौरासी मंदिर परिसर में स्थापित दो दान पात्रों के तालों को तोड़ने की घटना सामने आई है.आज सुबह जब घटना का पता चला तो अतिरिक्त जिलादण्डाधिकारी भरमौर पृथीपाल सिंह ने पुलिस व नायब तहसीलदार को घटनास्थल की पड़ताल करने के निर्देश दिए.पुलिस ने घटना की पड़ताल करते हुए पाया कि दान पात्र के ताले खुले पड़े थे व दानपात्र खाली थे.पुलिस थाना प्रभारी नीतिन चौहान ने कहा कि पुरातत्व विभाग के कर्मचारियों व स्थानीय लोगों से पूछताछ कर यह बात सामने आई है कि दान पात्रों के ताले कई दिनों से खुले पड़े थे.जिस बारे में न्यास के सदस्यों व राजस्व विभाग को भी बताया गया था.उन्होंने बताया कि ताले खुले होने के कारण वहां खेल रहे बच्चे भी टटोलते रहते हैं.पुलिस ने इस संदर्भ में कोई मामला दर्ज नहीं किया है.
मणिमहेश के दानपात्रों को तोड़ने की यह पहली घटना नहीं है.अब तक करीब छ: बार दानपात्रों को तोड़ा गया जिसमें एक दर्जन से अधिक दान पात्र तोड़े जा चुके हैं.परिसर में अभी भी कई पुराने टूटे दान पात्र रखे देखे जा सकते हैं.
दान पात्र में से कितनी राशी चोरी हुई है यह तो अभी पता नहीं चला है.गौरतलब है कि न्यास ने इन दान पात्रों को अंतिम बार मणिमहेश यात्रा के तुरंत बाद खोला था.करीब चार माह तक इन्हें नहीं खोला गया था.
दानपात्रों को तोड़ने व छेड़छाड़ की घटनाओं ने मणिमहेश न्यास की कार्यप्रणाली को सीधे तौर पर कटघरे में ला खड़ा कर दिया है.वहीं पुलिस के पड़ताल के बाद आई जानकारी से न्यास की लापरवाही खुलकर सामने आई है.लोगों का कहना है कि मणिमहेश न्यास ने फिजूल खर्ची के तौर पर लाखों रुपये खर्च कर दिए हैं जबकि इतने धन से न्यास कुछ सुरक्षा अथवा चौकिदार नियुक्त कल सकता था.अब तक अपना स्टाफ तक तैनात नहीं कर पाया.लोगों का आरोप है कि आखिर न्यास कप तक मणिमहेश यात्रा के लाभ तक सीमित रहेगा.
नायब तहसीलदार फकीर चंद का कहना है मणिमहेश मेले के बाद दानपात्रों था दान राशी निकाल कर उन्हें ताला बंद किया गया था.
इस बारे में अतिरक्त जिला दण्डाधिकारी पृथीपाल सिंह ने कहा कि इस बारे में पड़ताल सीमित नहीं रहेगी.यह गम्भीर मुद्दा है जिस पर चौरासी परिसर में लगे सीसीटीवी फुटेज के अलावा अन्य लोगों से भी पूछताछ की जाएगी.ताले खुले रह गए या टूटे हैं इसकी रिपोर्ट पुलिस से मांगी गई है.