चंबा में नाबालिग पत्नी के मामले में पति गिरफ्तार, पुलिस जांच शुरू

चंबा में नाबालिग पत्नी के मामले में पति गिरफ्तार, पुलिस जांच शुरू

नाबालिग पत्नी के प्रसव के दौरान हुआ खुलासा, पुलिस ने POCSO एक्ट के तहत दर्ज किया मामला।

चंबा: हिमाचल प्रदेश के चंबा जिले में एक अनोखा मामला सामने आया है, जिसमें नाबालिग पत्नी के साथ रह रहे व्यक्ति को पुलिस ने गिरफ्तार किया है। यह मामला तब उजागर हुआ जब लड़की को प्रसव के लिए मेडिकल कॉलेज चंबा लाया गया। औपचारिकताओं के दौरान लड़की के दस्तावेज़ों से पता चला कि उसकी उम्र 18 वर्ष से कम है।

घटना का पूरा विवरण:

घटना उस समय प्रकाश में आई जब एक व्यक्ति अपनी पत्नी को प्रसव के लिए चंबा मेडिकल कॉलेज लेकर आया। अस्पताल में भर्ती होने की प्रक्रिया के दौरान लड़की के आधार कार्ड और अन्य दस्तावेज़ों की जांच की गई। दस्तावेज़ों से पता चला कि लड़की की उम्र अभी 18 वर्ष पूरी नहीं हुई है। अस्पताल के स्टाफ ने तुरंत पुलिस को सूचित किया।

महिला पुलिस थाना चंबा की टीम ने मौके पर पहुंचकर लड़की और उसके परिजनों से पूछताछ की। प्रारंभिक जांच में यह बात सामने आई कि आरोपी ने लगभग एक साल पहले लड़की को घर से भगाकर अपने साथ रखा था। इस दौरान वह गर्भवती हो गई। लड़की की जान खतरे में न पड़े, इसलिए उसे अस्पताल में भर्ती कराया गया।

पुलिस कार्रवाई:

पुलिस ने POCSO (Protection of Children from Sexual Offences) एक्ट के तहत मामला दर्ज कर आरोपी को गिरफ्तार कर लिया। एसपी चंबा अभिषेक यादव ने मामले की पुष्टि करते हुए बताया कि पुलिस इस मामले की हर पहलू से गहन जांच कर रही है।

लड़की की वर्तमान स्थिति:

अस्पताल में लड़की ने एक स्वस्थ बेटी को जन्म दिया है। हालांकि, उसके पति की गिरफ्तारी के कारण वह मानसिक रूप से परेशान है। पुलिस ने लड़की और नवजात के स्वास्थ्य और सुरक्षा का भी ध्यान रखा है।

समाज के लिए संदेश:

यह मामला बाल विवाह और नाबालिगों के अधिकारों के प्रति समाज में जागरूकता की कमी को दर्शाता है। पुलिस और प्रशासन ने इस मामले को गंभीरता से लेते हुए कार्रवाई की है, जो कानून व्यवस्था बनाए रखने और नाबालिगों के अधिकारों की रक्षा के प्रति उनकी प्रतिबद्धता को दिखाता है।

यह घटना समाज में बाल विवाह के खिलाफ जागरूकता बढ़ाने और इसे रोकने की आवश्यकता को स्पष्ट करती है। नाबालिगों के साथ इस प्रकार की घटनाओं को रोकने के लिए कठोर कानून लागू करना और उनकी शिक्षा व सुरक्षा सुनिश्चित करना बेहद ज़रूरी है।