रोजाना24,चम्बा : टॉर्च लेकर हो रही भरमाणी मंदिर व मणिमहेश यात्रा .
विश्व प्रसिद्ध मणिमहेश यात्रा के प्रबंधन को लेकर प्रशासन जितने बड़े बड़े दावे करता है उतना काम जमीनी स्तर किया नहीं जा रहा.पिछले एक माह से यात्री मणिमहेश व भरमाणी मे मंदिर की यात्रा कर रहे हैं.यात्री दिन को ही नहीं अपितु रात के वक्त भी यात्रा पर निकल रहे है.समय व मौसम की परिस्थिति को देखते हुए यात्रियों को रात के वक्त भी यात्रा करनी पड़ती है.लेकिन रास्तों पर लगी स्ट्रीट लाईट पिछले एक वर्ष से बंद पड़ी हैं.भरमाणी माता मंदिर मार्ग पर तो बिना स्ट्रीट चलना बेहद जोखिम भरा है क्योंकि यह मार्ग पर सेब के बगीचों से घिरा होने के कारण यहां अक्सर भालू जैसे जंगली जानवरों के हमले की सम्भावना बनी रहती है.वहीं रास्ता ढलान दार व ऊबड़खाबड़ होने के कारण लोगों की गिरने की सम्भावना बनी रहती है.अंधेरे में ठोकर खाकर गिरने भरमाणी मंदिर मार्ग में गत वर्षों में दो श्रद्धालुओं की मृत्यु भी हो चुकी है.
गौरतलब है कि मणिमहेश यात्रा से पूर्व इसके संचालन को सफलता पूर्वक अंजाम देने के लिए बड़े बड़े दावे किए गए थे लेकिन जमीनी स्तर पर यह अभी भी पूरे नहीं हुए हैं.23 अगस्त को जन्माष्टमी स्नान है और अभी तक रास्तों पर बिजली बहाल नहीं हो पाई है.
उधर इस बारे में विद्युत विभाग के सहायक अभियंता विक्रम शर्मा ने कहा कि भरमाणी मंदिर मार्ग के लिए स्ट्रीट लाईट मुहम्मत का कार्य किया जा रहा है.वहीं हड़सर मणिमहेश मार्ग पर रोशनी की व्यवस्था जनरेटर के माध्यम से की जाएगी लेकिन अभी तक पैट्रोल की सप्लाई नहीं पहुंची है.पैट्रोल की व्यवस्था होते ही मणिमहेश मार्ग पर बिजली बहाल कर दी जाएगी.
विभागीय अधिकारी अभी भले ही बिजली व्यवस्था दुरुस्त करने की बात कर रहे हों लेकिन अब तक यह व्यवस्था बहाल क्यों नहीं हो पाई इसका जबाव न तो विभाग व न ही प्रशासन के पास है.