रोजाना२४,पठानकोट(समीर गुप्ता) : पठानकोट का हिन्दू को-ऑपरेटिव बैंक पिछले लगभग दो वर्षों से लगातार विवादों में घिरा हुआ है.
बता देंं कि दो वर्ष पूर्व रिजर्व बैंक ने हिन्दू को-ऑपरेटिव बैंक के ऑडिट के दौरान पाया कि बैंक के एनपीए का स्तर बहुत ही खराब स्थिति में है । ऐसी खबर भी चर्चा में आई कि कुछ प्रभावशाली लोगोंं को नियमों को ताक पर रखकर जरूरत से अधिक कर्जा दिया गया है ।
इसके बाद रिजर्व बैंक ने हिन्दू बैंक की निकासी पर रोक लगा दी थी. जिसके चलते बैंक के आम ग्राहकों और स्टाफ का भविष्य अधर में लटक गया । समस्याएं बढ़ने के बाद बैंक स्टाफ को डेपुटेशन पर दूसरे सहकारी बैंको में भेजा जा रहा है दो साल उपरांत भी जमा राशी की निकासी पर लगी रोक पूरी तरह नहींं हटाई गई है ।
इस कारण आए दिन बैंक ग्राहक अपने डिपाजट को लेकर रोष प्रदर्शन करते हुए दिखाई देते हैं। बैंक का आम ग्राहक इस स्थिति में सबसे अधिक ठगा हुआ महसूस करता है। इस मामले के हल को लेकर बार – बार आला अधिकारियों से गुहार लगाई जाती है परन्तु अभी तक इस मसले का कोई हल नहींं निकला है इसके पीछे का मुख्य कारण बैंक की माली हालत का खराब होना बताया जाता है और साथ ही जो कर्ज नियमोंं को ताक पर रखते हुए दिया गया है उस संबंधी किसी की जवाबदेही का तय न होना भी बताया जाता है ।
बैंक के मौजूदा सीईओ अमन मेहता का कहना है कि बैंक स्टाफ एनपीए खातों की वसूली के लिए जी तोड़ प्रयास कर रहा है और उन्हें उम्मीद है कि बैंक की वित्तीय स्थिति में आने वाले समय मे सुधार होगा स्थिति सामान्य होगी.